Uttar Pradesh Jagatguru Paramhansacharya Burnt Political Leaders Posters Over Sanatana Dharma Row Ann | UP News: जगतगुरु परमहंसाचार्य ने जलाए नेताओं के पोस्टर, बोले
Paramhansa Acharya On Sanatana Dharma: अयोध्या में विजयादशमी के अवसर पर सनातन धर्म के विरोधियों के पोस्टर जलाए गए हैं. जगतगुरु परमहंसाचार्य ने सनातन धर्म पर टिप्पणी करने वाले राजनेताओं के पोस्टर जलाये. उन्होंने ऐसे नेताओं को कलयुग का रावण बताया है. उन्होंने कहा कि जिस तरह से राम जी ने रावण का वध किया था. उसी तरह से सनातन धर्म का विरोध करने वाले लोगों का एक-एक करके मैं वध करूंगा.
जगतगुरु परमहंसाचार्य डीएमके नेता उदयनिधि स्टालिन, बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर, यूपी के सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य और कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष के पुत्र प्रियंक खरगे को सनातन विरोधी और कलयुगी रावण मानते हैं. जगतगुरु परमहंसाचार्य ने मशहूर कवि कुमार विश्वास के द्वारा उनको लेकर डीजीपी यूपी को किए गए ट्वीट पर टिप्पणी की और कहा कि उनके घर वालों ने उनको निकाल दिया था अब वह रामकथा के नाम पर रावण कथा कह रहा है इसलिए ‘कुमार विश्वास इस योग्य नहीं है कि उसका मैं जवाब दूं’.
‘सनातन का विरोध करने वालों से बनाएं दूरी’
उन्होंने कहा कि डीएमके नेता उदयनिधि स्टालिन, बिहार के शिक्षा मंत्र, स्वामी प्रसाद मौर्य, प्रियंक खरगे, कुछ लोग सनातन धर्म को डेंगू मच्छर मलेरिया बता रहे हैं, तो कोई एचआईवी बता रहे हैं, कोई कोविड बता रहा है तो कोई समाप्त करने की धमकी दे रहा है. कोई हमारे रामचरितमानस को नफरत फैलाने वाला ग्रंथ बता रहा है. इन राक्षसों का आज हमने पुतला दहन किया है.
जगतगुरु परमहंस आचार्य ने कहा, ‘मैं देशवासियों से अपील कर रहा हूं जो लोग सनातन धर्म को समाप्त करने की धमकी दे रहे हैं ऐसे लोगों से दूरी बनाए. स्वामी प्रसाद मौर्य को लेकर हमने कई बार इसको समझने का प्रयास किया, लेकिन यह बढ़ता ही जा रहा है. धीरे-धीरे पानी नाक से ऊपर आ गया है. हमने 25 करोड़ का इनाम घोषित किया है कि जो भी इसको गोली मारेगा. मैं उसको 25 करोड़ दूंगा और आर्थिक सहायता भी दूंगा और जो भी सनातन धर्म का विरोध करेगा उसको बख्शा नहीं जाएगा.’
कुमार विश्वास को लेकर क्या बोले?
कवि कुमार विश्वास को लेकर उन्होंने कहा कि यह लुच्चा और लफंगा है. इसी कारण उसके माता-पिता ने इसको घर से निकाल दिया था. 2 साल तक यह बाहर दर-दर भटक रहा था. कुछ दिन पहले इसी ने कहा था कि संघ के लोग अनपढ़ होते हैं. बताइए जो लाखों लोग संघ से जुड़े हुए हैं तमाम बुद्धिजीवी जुड़े हुए हैं उन लोगों को यह अनपढ़ बता रहा है. कुमार विश्वास को तब यह ध्यान नहीं जब रामचरितमानस को नफरत फैलाने वाला ग्रंथ बताया गया. जब सनातन धर्म को मिटाने की बात कही गई.
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