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Rajasthan Budget CM Bhajanlal Sharma plans for womens welfare in the upcoming budget ANN


Rajasthan Budget: राजस्थान की भजनलाल सरकार इस बार बजट में महिलाओं के लिए बहुत कुछ ख़ास करने वाली है. जिसके लिए सरकार ने कसरत शुरू कर दी है. इसके लिए महिला प्रतिनिधियों से बातचीत की गई है. इतना ही नहीं उनके सुझाव भी लिए जा रहे हैं. मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की मंशानुरूप राज्य सरकार युवा, महिला, किसान, मजदूर के उत्थान के लिए प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है. 

महिलाओं की शिक्षा, स्वास्थ्य, सुरक्षा एवं उद्यमिता के लिए गत एक वर्ष के कार्यकाल में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं. उन्होंने कहा कि सरकार महिला प्रतिनिधियों के सभी सुझावों पर विचार कर उन्हें बजट में यथासंभव शामिल करेगी.उन्होंने कहा कि जब महिलाएं सशक्त होती हैं तो परिवार भी सशक्त होता है. सशक्त समाज बनता है और एक अच्छे राष्ट्र का विकास होता है. हमारी सरकार पहले ही दिन से इसी सोच के साथ काम कर रही है.

इन पर हो सकता है काम?

लाडो प्रोत्साहन योजना शुरू कर बालिका के जन्म से लेकर उच्च शिक्षा हासिल करने तक उन्हें 7 किश्तों में 1 लाख रुपये की राशि दी जा रही है. करीब 33 करोड़ रुपये की पहली किश्त लाभार्थियों को मिल चुकी है. इस साल मार्च तक 3 लाख बालिकाओं को योजना का लाभ पहुंचाया जाएगा. राज्य के 246 पुलिस सर्कल थानों में महिला सुरक्षा एवं सलाह केंद्र और 37 वन स्टॉप सखी केंद्रों के माध्यम से 40 हजार महिलाओं को परामर्श दिया गया है. 

मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत 4 हजार से अधिक जोड़ों को साढ़े दस करोड़ रुपये का अनुदान दिया गया है, इसे और मजबूत किया जा सकता है. राजस्थान मरू उड़ान कार्यक्रम के माध्यम से महिलाओं के लिए शारीरिक एवं मानसिक प्रशिक्षण, ब्रेस्ट कैंसर अवेयरनेस, आत्मरक्षा प्रशिक्षण, डिजिटल साक्षरता, वित्तीय साक्षरता, ड्राइविंग प्रशिक्षण एवं करियर काउंसलिंग जैसे जरूरी प्रशिक्षण को और गति मिल सकती है.

इसपर भी है फोकस

प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना के तहत प्रथम संतान के जन्म के समय दी जाने वाली राशि 5 हजार से बढ़ाकर 6 हजार 500 रुपये कर दी है. इस योजना में दिव्यांग गर्भवती महिला को 10 हजार रुपये दिए जा रहे हैं. इस योजना में केन्द्र सरकार दूसरी संतान बालिका होने पर 6 हजार रुपये देती है. जबकि राज्य में दूसरी संतान बालक हो या बालिका, दोनों के लिए 6 हजार रुपये की राशि दी जा रही हैं. योजना के तहत 3 लाख 32 हजार लाभार्थियों को भुगतान किया जा चुका है.  

राज्य में 62 हजार आंगनबाड़ी केंद्रों के माध्यम से 45 लाख बच्चों, गर्भवती एवं धात्री महिलाओं और किशोरी बालिकाओं को पूरक पोषाहार, शाला पूर्व शिक्षा, टीकाकरण आदि सेवाएं प्रदान की जा रही हैं. आंगनबाड़ी सेवाओं की पहुंच बढ़ाने के लिए राज्य मद से एक हजार नए आंगनबाड़ी केंद्र खोले गए हैं. साथ ही 2 हजार 365 आंगनबाड़ी केंद्रों को आदर्श आंगनबाड़ी के रूप में विकसित किया जा रहा हैं.

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