Om Birla is strict on the scuffle protests banned at all the gates of Parliament House
Om Birla Strict On Parliament controversy: लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने गुरुवार (19 दिसंबर, 2024) को सत्ता पक्ष और विपक्ष के सांसदों के बीच धक्का-मुक्की की घटना के बाद निर्देश दिया कि कोई भी राजनीतिक दल, सांसद और सांसदों का समूह संसद के किसी भी द्वार पर प्रदर्शन नहीं कर सकते. सूत्रों ने यह जानकारी दी.
सूत्रों ने बताया, ‘लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने सख्त निर्देश जारी किए हैं कि कोई भी राजनीतिक दल, संसद सदस्य या सदस्यों का समूह संसद भवन के गेट पर कोई धरना और प्रदर्शन नहीं करेगा.’ गृह मंत्री अमित शाह की बाबासाहेब भीमराव आंबेडकर से संबंधित टिप्पणी को लेकर विरोध जताते हुए विपक्षी सदस्यों ने बृहस्पतिवार को मार्च निकाला तो भाजपा सांसदों ने कांग्रेस पर बाबासाहेब के अपमान का आरोप लगाते हुए प्रदर्शन किया.
भाजपा के दो सांसद को लगी चोट
संसद भवन के ‘मकर द्वार’ के निकट सत्ता पक्ष और विपक्ष के सदस्य एक दूसरे के सामने आ गए और जमकर नारेबाजी की. भारतीय जनता पार्टी का आरोप है कि लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने धक्का-मुक्की की जिस वजह से उसके बुजुर्ग सांसद प्रताप सारंगी चोटिल हुए. भाजपा सासंद मुकेश राजपूत को भी चोट लगी है.
क्या है कांग्रेस का दावा?
दूसरी तरफ, कांग्रेस का दावा है कि भाजपा के सांसदों ने उसके अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी और कई महिला सांसदों को संसद भवन में जाने से रोका और धक्का-मुक्की की. कांग्रेस और कई अन्य विपक्षी दलों का आरोप है कि शाह ने ‘भारत के संविधान की 75 वर्षों की गौरवशाली यात्रा’ विषय पर राज्यसभा में दो दिन तक चली चर्चा का जवाब देते हुए मंगलवार को अपने संबोधन के दौरान बाबासाहेब का अपमान किया.
भाजपा ने लगाया ये आरोप
मुख्य विपक्षी दल ने शाह के संबोधन का एक वीडियो अंश भी जारी किया, जिसमें गृह मंत्री विपक्ष पर कटाक्ष करते हुए यह कहते सुने जा सकते हैं, ‘‘अभी एक फैशन हो गया है- आंबेडकर, आंबेडकर…. इतना नाम अगर भगवान का लेते तो सात जन्मों तक स्वर्ग मिल जाता.’’ दूसरी तरफ, भारतीय जनता पार्टी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने हमेशा बाबासाहेब का अपमान किया और उन्हें चुनाव तक में हरवाया.