Lok Sabha Election 2024 Election Betting Phalodi Betting Market Bets Are Being Placed On Possibilities – 500 साल पुराना सट्टा बाजार किसे दे रहा सत्ता? जानें- यहां चुनाव से लेकर खेल पर कैसे लगता है दांव
देश में लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Elections 2024) के दो चरणों के मतदान हो चुके हैं. पहले फेज में 102 और दूसरे चरण में 88 सीटों की किस्मत का फ़ैसला ईवीएम में बंद है, लेकिन किसको कितनी सीटें मिलेंगी? कौन जीतेगा, कौन हारेगा? इसका आंकलन भी लगना शुरू हो गया है. राजस्थान का छोटा सा शहर फलोदी इस दौरान चर्चा का केंद्र बना हुआ है. यहां के सट्टा बाज़ार में क्या चल रहा है, इस पर भी लोगों की निगाहें हैं.
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लोकसभा के लिए सात चरणों में मतदान होने हैं. 4 जून को फ़ैसले आने हैं, लेकिन लोगों की उत्सुकता अभी से है कि किसकी बनेगी सरकार? पार्टियों के दिलों में बेचैनी है कि जनता का मूड क्या है? राजस्थान के छोटे से शहर फलोदी की चर्चा हर तरफ है. क्रिकेट में किसकी जीत होगी? अमेरिका के चुनावों में क्या होगा? हार-जीत को लेकर अगर कहीं का सट्टा सबसे ज़्यादा चर्चा में रहता है तो वो फलोदी का है.
जनता के मन में क्या है, ये जानना कोई आसान काम नहीं हैं. ऐसे में ये जनना दिलचस्प है कि ये सटोरिये अनुमान कैसे लगाते हैं और किस जानकारी पर काम करते हैं. इस बाज़ार के लोगों के दावे हैं कि ये अख़बार पढ़ते हैं, मीडिया रिपोर्ट्स देखते हैं. नेताओं की सभाओं में भीड़ देखते हैं, लोगों से बात करते हैं और वोटिंग प्रतिशत देखते हैं.
हालांकि ऐसा भी नहीं है कि सबकी राय एक ही हो. फलोदी के इस बाज़ार में सबको अपने विचार रखने का हक़ है. कहा जाता है कि गली-गली घर-घर सट्टा खेला जाता है. किसी ने जूता फेंका तो सीधा गिरेगा या उल्टा, इस बात पर भी सट्टा लग जाता है.
हाल ही में यहां के कई आंकलन ने लोगों का ध्यान अपनी ओर खींचा है. पिछले साल मई में कर्नाटक में चुनाव हुए थे. फलोदी सट्टा बाज़ार ने कांग्रेस को 137 और बीजेपी को 55 सीटें दी थीं. नतीजों में कांग्रेस को 135 और बीजेपी को 66 सीटें मिली थीं. इससे पहले 2022 में हिमाचल प्रदेश में कांटे की टक्कर के बीच कांग्रेस की जीत बताई गई थी, और ऐसा हुआ भी.
फलोदी में 500 साल से खेला जाता है सट्टा
फलोदी का ये सट्टा बाजार काफी प्रसिद्ध है. ये भी बताया जाता है कि ऐसा सट्टा किसी और जगह नहीं खेला जाता है. हालांकि बीकानेर और शेखावटी में कुछ इसी तरह का सट्टा लगाया जाता है. जानकारों का कहना है कि यहां पारंपरिक रूप से करीब 500 साल से सट्टा खेला जा रहा है. वैसे फलोदी शहर ‘नमक नगरी’ के नाम से भी प्रसिद्ध है. यहां गर्मियों में तापमान 50 डिग्री तक पहुंच जाता है. लेकिन, फ़िलहाल यहां चुनावी तापमान बढ़ा हुआ है.