Lok Sabha Election 2024 Ahmed Patel Daughter Mumtaz Patel Reaction Over Declaration For AAP Candidate In Bharuch
Mumtaz Patel Interview: लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर तैयारियों में जुटे विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ में सीटों के बंटवारे पर बात फाइनल नहीं हुई है. गठबंधन के दो घटक दलों कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के बीच कई सीटों को लेकर बंटवारे का समाधान निकाला जाना बाकी है. उससे पहले पिछले दिनों AAP संयोजक अरविंद केजरीवाल ने पिछले दिनों अपने गुजरात दौरे के दौरान भरूच सीट से अपने उम्मीदवार के नाम की घोषणा कर दी. जिस पर इस सीट पर कई बार सांसद रहे कांग्रेस के दिवंगत नेता अहमद पटेल की बेटी मुमताज पटेल ने नाराजगी जताई है.
केजरीवाल 6 जनवरी को तीन दिवसीय यात्रा के लिए गुजरात पहुंचे थे और 7 जनवरी को उन्होंने भरूच के चैत्रंग में रैली को संबोधिक करते हुए मौजूदा विधायक चैतर वसावा के नाम की घोषणा लोकसभा चुनाव के लिए उम्मीदवार के तौर पर कर दी थी. मुमताज पटेल ने एबीपी न्यूज के साथ बात करते हुए बताया कि केजरीवाल के ऐलान के बाद स्थानीय कांग्रेस ने एक प्रस्ताव पारित करके प्रदेश संगठन को आपत्ति से अवगत करा दिया था. मुमताद पटेल ने और क्या कुछ कहा, आइये जानते हैं.
‘प्रीमैच्योर अनाउंसमेंट थी’
मुमताज पटेल ने कहा, ”7 जनवरी को जब अरविंद केजरीवाल जी नेत्रंग आए भरूच डिस्ट्रिक्ट में तो उन्होंने आम आदमी पार्टी से अभी के जो मौजूदा एमएलए हैं चैतर वसावा जी, उनका नाम स्टेज पर अनाउंस किया कि ये हमारे कैंडिडेट होंगे आम आदमी पार्टी से, पर अगर अलायंस की बात नहीं हुई थी तो ये बहुत ही एक प्रीमैच्योर अनाउंसमेंट थी क्योंकि इस वक्त भी टॉप लेवल पर अलायंस की बातें चल रही हैं”
प्रदेश के संगठन की तरफ से क्या कुछ कहा गया?
केजरीवाल की घोषणा पर कांग्रेस के प्रदेश संगठन ने क्या कहा, यह पूछे जाने पर मुमताज पटेल ने कहा, ”इस अनाउंसमेंट के बाद जो हमारी भरूच डिस्ट्रिक्ट कांग्रेस कमेटी है, हम सबने मिलकर एक रिजॉल्यूशन पास किया और एआईसीसी भेजा कि हम नहीं चाहते हैं कि इस पर्टिकुलर सीट पर कोई अलायंस हो, क्योंकि ये ट्रेडिशनली एक कांग्रेस और बीजेपी की बीच की सीट रही है और हम चाहते हैं कि कांग्रेस का सिंबल इस सीट पर लड़े.”
क्या आपको इस सीट से चुनाव लड़ना चाहिए?
मुमताज पटेल से जब पूछा गया कि क्या उन्हें इस सीट से चुनाव लड़ना चाहिए तो उन्होंने कहा, ”देखिए एक राजनीतिक विरासत की बात नहीं है और जब हम कहते हैं कि अहमद पटेल की सीट तो एक सवाल उठता है कि आखिरी बार लोकसभा कब जीते थे, पर याद दिलाना चाहती हूं कि तीन बार लोकसभा के सांसद रहे हैं, उसके बाद छह बार राज्यसभा के सांसद रहे और कांग्रेस को रिप्रिजेंट करते आ रहे, उन्होंने लोकसभा सांसद के रूप में भरूच सीट को हमेशा कांग्रेस की तरफ से रिप्रिजेंट किया है और इस सीट पर हमारे काफी वर्षों तक बहुत कांग्रेस के एमएलए रह चुके हैं, हमारे पास जिला तालुका पंचायत की सीटें रह चुकी हैं, हमारा वोटर बेस यहां पर अभी भी स्ट्रॉन्ग है.”
उन्होंने आगे कहा, ”दूसरी बात जब आप आम आदमी पार्टी की बात करते हैं, जिन्होंने 2022 में डेब्यू किया इस डिस्ट्रिक्ट में तो एक असेंबली में जीते हैं. भरूच लोकसभा में सात असेंबली हैं जिसमें से एक असेंबली में चेतन भाई जीत के आए हैं, पर बाकी जो छह असेंबली हैं, वहां पर जमानत जब्त हुई है. आप की न कोई काडर है, न कोई प्रेजेंस है तो उस हिसाब से अगर आप देखने जाएं तो एक असेंबली जीतने से पूरा सीट आम आदमी पार्टी के लड़ने लायक नहीं बनता है.”
उन्होंने कहा, ”कांग्रेस हमेशा से इस सीट पर लड़ी है और कहीं न कहीं एज ए डॉटर मैं ये कहना हूं कि अगर लोकसभा नहीं भी जीते थे तो हमेशा कांग्रेस के अहमद पटेल एक मेंबर ऑफ पार्लियामेंट भरूच से रह चुके हैं. तो इसीलिए लोगों को आदत थी, उन लोगों को समझ नहीं आता है, लोकसभा हो या राज्यसभा हो, उनके पास एक कांग्रेस का सांसद हमेशा से रहा था. उस हिसाब से हम बोलते हैं कि ट्रेडिशनली अहमद पटेल की सीट रही है, आखिरी दम इन्होंने इस सीट को सींचा है. आप आइये, भरूच में देखिए, आपको हर कोने में अहमद पटेल के किए गए कार्य गांव-गांव में दिखेंगे, आज भी लोग याद करते हैं उन्हें.”
एकतरफा घोषणा क्या गठबंधन धर्म के खिलाफ है?
क्या एकतरफा घोषणा क्या गठबंधन धर्म के खिलाफ है? यह पूछे जाने पर मुमताज पटेल ने कहा, ”जी, वहीं मैंने बोला कि कोलिशन धर्म को आपने तोड़ा है बड़ा प्रीमैच्योर अनाउंसमेंट करके, पर अभी भी मैं कहती हूं कि हमारी डिस्ट्रिक्ट कांग्रेस की तरफ से यही डिमांड रही है कि हम चाहते हैं कि कांग्रेस इस सीट को लड़े. अब ऊपर के लेवल पर जो भी फैसला होता है वो आगे जाकर देखा जाएगा. पर जो हमारी डिमांड थी, जो हमारा रिजॉल्यूशन था वो मैंने आपको बता दिया.”
क्या आप तैयार है चुनाव लड़ने के लिए?
मुमताज पटेल क्या चुनाव लड़ने के लिए तैयार हैं, यह पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ”देखिए, ये हाईकमान का डिसीजन रहेगा और अगर उनको लगता है कि मैं एक उम्मीदवार बन सकती हूं, मेरी मेरिट है और ये चुनाव मैं कांग्रेस को रिप्रिजेंट करके लड़ूं और वो मुझे कहें तो जी बेशक जरूर लड़ूंगी.”