LJP 25th Foundation Day Chirag Paswan and Pashupati Kumar Paras Made Big Plan ANN
LJP Foundation Day: लोक जनशक्ति पार्टी का आज (गुरुवार) 25वां स्थापना दिवस है. 2021 में इस पार्टी में टूट के बाद पशुपति कुमार पारस (Pashupati Kumar Paras) और चिराग पासवान अलग-अलग हो गए. अब पशुपति पारस ‘राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी’ के अध्यक्ष हैं जबकि चिराग पासवान लोक जनशक्ति पार्टी रामविलास के अध्यक्ष हैं. अब पार्टी टूटने के बाद पहली बार चाचा-भतीजा पुरानी पार्टी का स्थापना दिवस मना रहे हैं.
चिराग पासवान पार्टी के पुराने कार्यालय में स्थापना दिवस मनाएंगे. भवन निर्माण विभाग ने कार्यालय को चिराग पासवान की पार्टी के नाम से आवंटन कर दिया है. बीते बुधवार को चिराग पासवान ने परिवार के सदस्यों और पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की मौजूदगी में विधिवत पूजा कराई. इस मौके पर पार्टी के कार्यकर्ताओं में खुशी देखने को मिली.
आज के स्थापना दिवस को लेकर चिराग की ओर से बड़ी तैयारी की गई है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को स्थापना दिवस पर आमंत्रित किया गया है. इसके अलावा बिहार बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल, उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी, बीजेपी के बिहार प्रभारी विनोद तावड़े समेत कई अन्य नेताओं को भी आमंत्रित किया गया है.
पशुपति पारस पैतृक गांव में मनाएंगे स्थापना दिवस
इससे पहले पूर्व केंद्रीय मंत्री और चिराग पासवान के चाचा पशुपति पारस की पार्टी का इसमें कार्यालय था जिसे भवन निर्माण विभाग ने खाली करा दिया है. अब पशुपति पारस पटना स्थित अपने आवास से पार्टी चला रहे हैं. वे भी पार्टी का स्थापना दिवस मनाएंगे लेकिन पटना में नहीं बल्कि पैतृक गांव खगड़िया के शहरबन्नी में पूरा कार्यक्रम है.
पशुपति पारस ने अपने गांव में पार्टी के संस्थापक रामविलास पासवान और भाई रामचंद्र पासवान की प्रतिमा का अनावरण करेंगे. पार्टी के नेताओं ने बताया है कि इस मौके पर चिराग पासवान से खफा होने वाले कई नेता जैसे जेडीयू कोटे के मंत्री महेश्वर हजारी सहित कई लोग शहरबन्नी पहुंच सकते हैं.
चाचा-भतीजा दोनों के लिए आज का दिन खास
चिराग पासवान और पशुपति पारस दोनों के लिए आज का ये स्थापना दिवस खास है क्योंकि 2025 में बिहार विधानसभा का चुनाव होना है. चिराग पासवान एनडीए का हिस्सा बने हुए हैं और पार्टी का कद बढ़ाते हुए अब उन्होंने कार्यालय पर भी कब्जा जमा लिया है. वहीं पारस को एनडीए में तवज्जों नहीं दी जा रही है. हालांकि अभी तक पशुपति पारस ने एनडीए के खिलाफ बयानबाजी नहीं की है. हर बार वह यह कहते आए हैं कि हम एनडीए के हिस्सा हैं.
कार्यालय खाली करने के बाद 19 और 20 नवंबर को पारस की पार्टी की दो दिवसीय बैठक भी हुई थी. उस वक्त भी पार्टी के सभी नेताओं ने एनडीए के खिलाफ कुछ भी बोलने से परहेज किया था. हालांकि कई कार्यकर्ताओं ने बैठक में साफ कर दिया कि अब पार्टी अपनी राह पर चले और 2025 के चुनावी मैदान में सभी 243 सीटों पर उम्मीदवार उतारे. उम्मीद की जा रही है कि आज शहरबन्नी से पशुपति पारस आगामी 2025 के चुनाव के लिए बड़ा ऐलान भी कर सकते हैं.
यह भी पढ़ें- Chirag Paswan: पिता की विरासत वापस पाने का संघर्ष: चिराग पासवान 2.0