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Railway Update: केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने राज्यसभा में रेल मंत्रालय के कामकाज पर चर्चा के दौरान भारतीय रेलवे की उपलब्धियों और भविष्य की योजनाओं की जानकारी दी. उन्होंने बताया कि भारतीय रेलवे यात्रियों को किफायती किराए पर सुरक्षित और उच्च गुणवत्ता वाली सेवाएं प्रदान कर रहा है. भारत में रेल किराया पाकिस्तान, बांग्लादेश और श्रीलंका जैसे पड़ोसी देशों से भी कम है, जबकि पश्चिमी देशों की तुलना में ये 10-20 गुना सस्ता है.

रेल मंत्री ने बताया कि ट्रेन से प्रति किलोमीटर यात्रा की लागत ₹1.38 है, जबकि यात्रियों से केवल 73 पैसे लिए जाते हैं. यानी रेलवे यात्रियों को 47% सब्सिडी दे रहा है. वित्त वर्ष 2022-23 में यात्रियों को ₹57,000 करोड़ की सब्सिडी दी गई थी जो 2023-24 (प्रोविजनल आंकड़ों के अनुसार) बढ़कर करीब ₹60,000 करोड़ हो गई.

भारतीय रेलवे 2025 तक ‘Scope 1 नेट जीरो’ लक्ष्य हासिल करेगा

रेल मंत्री ने कहा कि भारतीय रेलवे 2025 तक ‘Scope 1 नेट जीरो’ और 2030 तक ‘Scope 2 नेट जीरो’ का लक्ष्य पूरा कर लेगा. उन्होंने बताया कि बिहार के मढ़ौरा कारखाने में बने लोकोमोटिव का एक्सपोर्ट जल्द शुरू होगा. भारतीय रेल के पैसेंजर कोच मोजाम्बिक, बांग्लादेश और श्रीलंका को एक्सपोर्ट किए जा रहे हैं जबकि लोकोमोटिव मोजाम्बिक, सेनेगल, श्रीलंका, म्यांमार और बांग्लादेश भेजे जा रहे हैं. इसके अलावा बोगी के अंडर-फ्रेम यूनाइटेड किंगडम, सऊदी अरब, फ्रांस और ऑस्ट्रेलिया को और प्रपल्शन पार्ट्स फ्रांस, मैक्सिको, जर्मनी, स्पेन, रोमानिया और इटली को एक्सपोर्ट किए जा रहे हैं.

भारत ने अमेरिका-यूरोप से ज्यादा लोकोमोटिव बनाए

रेल मंत्री ने बताया कि इस साल भारत में 1,400 लोकोमोटिव का उत्पादन हुआ, जो अमेरिका और यूरोप के संयुक्त उत्पादन से भी ज्यादा है. इसके साथ ही रेलवे बेड़े में 2 लाख नए वैगन जोड़े गए हैं. उन्होंने कहा कि 31 मार्च को खत्म हो रहे वित्त वर्ष में भारतीय रेलवे 1.6 बिलियन टन कार्गो ढोकर दुनिया के शीर्ष 3 देशों में शामिल होगा जिनमें चीन, अमेरिका और भारत होंगे.

रेलवे सुरक्षा पर सरकार का फोकस

रेलवे की सुरक्षा को लेकर सरकार विशेष ध्यान दे रही है. रेल मंत्री ने बताया कि अब तक 41,000 LHB कोच तैयार किए गए हैं और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तीसरे कार्यकाल में सभी ICF कोच को LHB में बदला जाएगा. लंबी रेल, इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग, फॉग सेफ्टी डिवाइस और कवच सिस्टम को तेजी से लागू किया जा रहा है. रेलवे के बेसिक इंफ्रास्ट्रक्चर में सुधार के लिए सरकार का समर्थन भी बढ़ा है. पहले रेलवे को ₹25,000 करोड़ का फंड मिलता था जो अब बढ़कर ₹2.5 लाख करोड़ से ज्यादा हो गया है.

नई दिल्ली रेलवे स्टेशन हादसे पर उठाए 10 अहम कदम

हाल ही में नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर हुए हादसे को लेकर रेल मंत्री ने सदन को जानकारी दी कि इस घटना की जांच हाई-लेवल कमेटी कर रही है. सभी CCTV फुटेज सुरक्षित रखे गए हैं और लगभग 300 लोगों से बातचीत कर तथ्य जुटाए जा रहे हैं. साथ ही भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए 10 अहम कदम उठाए गए हैं.

गरीब यात्रियों की सुविधा के लिए बढ़े जनरल कोच

रेल मंत्री ने कहा कि रेलवे का ध्यान गरीब यात्रियों की सुविधा पर है. इसी वजह से जनरल कोचों की संख्या एसी कोचों की तुलना में ढाई गुना बढ़ाई जा रही है. मौजूदा प्रोडक्शन प्लान के तहत 17,000 नॉन-एसी कोच बनाए जा रहे हैं. रेलवे की वित्तीय स्थिति भी अच्छी हो रही है. वर्तमान में रेलवे का रेवेन्यू 2.78 लाख करोड़ है जबकि खर्च 2.75 लाख करोड़ रुपये का है. राज्यसभा में अपने बयान के अंत में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने भरोसा दिलाया कि भारतीय रेलवे आने वाले समय में और ज्यादा आधुनिक, सुरक्षित और पर्यावरण-अनुकूल परिवहन प्रणाली के रूप में उभरेगा.

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