Former Jammu And Kashmir Governor Satyapal Malik On Manipur Violence Said It Is Shameful That Neither The CM Has Been Removed Nor Any Action Has Yet Been Taken | Manipur Violence: मणिपुर की घटना पर पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक बोले
Manipur Violence: मणिपुर की घटना पर देश से लेकर संसद तक बवाल मचा हुआ है. इस मुद्दे पर संसद के दोनों सदनों में मानसून सत्र के दौरान हंगामा जारी रहा. विपक्षी पार्टियों को केंद्र सरकार पर हमला बोलने का मौका मिल गया है. विरोधी दल लगातार मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह (N. Biren Singh) के इस्तीफे की मांग कर रहे हैं. इसी कड़ी में जम्मू-कश्मीर के पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने बीजेपी सरकार पर जमकर हमला बोला है.
मणिपुर की घटना पर बरसे सत्यपाल मलिक
सत्यपाल मलिक ने सवाल उठाया कि मणिपुर की घटना को दो महीनों से ज्यादा हो गए हैं, लेकिन वहां के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह (N. Biren Singh) ने अभी तक इस्तीफा नहीं दिया है. उन्होंने कहा कि, ‘यह शर्मनाक है कि न तो सीएम को हटाया गया है और न ही अभी तक कोई कार्रवाई की गई है. यह बहुत ही शर्मिंदगी की बात है और पूरे देश के लिए शर्मिंदगी की बात.’ बता दें इस मामले पर आज संसद माहौल गर्म रहा. विपक्षी सांसद इस मामले पर सदन में पीएम मोदी (PM Modi) के बयान की मांग कर रहे हैं. जबकि सत्ता पक्ष का आरोप है कि विपक्षी दल इस मुद्दे पर चर्चा से भाग रहे हैं.
संसद के दोनों सदनों में हंगामा
विपक्षी दलों के गठबंधन इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस (INDIA) के घटक दलों ने सोमवार (24 जुलाई) को भी मणिपुर के मुद्दे पर पीएम मोदी से संसद के दोनों सदनों में बयान देने और चर्चा की मांग जारी रखी. इस मांग को लेकर इन पार्टियों के सदस्यों ने संसद भवन परिसर में प्रदर्शन किया. संसद परिसर में हुए विपक्षी सांसदों के विरोध प्रदर्शन में कांग्रेस अध्यक्ष और राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, जनता दल (यूनाइटेड) के राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह, द्रमुक के टीआर बालू, आम आदमी पार्टी के संजय सिंह, राष्ट्रीय जनता दल के मनोज झा और अन्य पार्टियों के सांसद शामिल हुए. उन्होंने ‘प्रधानमंत्री सदन में आओ’ के नारे भी लगाए.
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह का जवाब
इसके जवाब में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि मैं इस पर सदन में चर्चा के लिए तैयार हूं. मैं विपक्ष से अनुरोध करता हूं कि इस मुद्दे पर चर्चा होने दें. यह महत्वपूर्ण है कि देश को इस संवेदनशील मामले पर सच्चाई पता चले. हालांकि इसके बाद भी हंगामा जारी रहा जिसके बाद लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही मंगलवार तक के लिए स्थगित कर दी गई.
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