Citizenship Amendment Act in India likely to be issued before 2024 Lok Sabha Elections Maximum Applicants from Pakistan in CAA
Citizenship Amendment Act in India: लोकसभा चुनाव 2024 में अब ज्यादा वक्त नहीं बचा है. चुनावों की तारीख के ऐलान से पहले में केंद्र में शासित नरेंद्र मोदी सरकार नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) की अधिसूचना जारी करने की तैयारी में है. केंद्रीय गृह मंत्रालय CAA नोटिफिकेशन को संभवत: अगले महीने मार्च में जारी कर सकता है. CAA के ऑनलाइन पोर्टल को रजिस्ट्रेशन के लिए तैयार किया जा चुका है. रिपोर्ट के मुताबिक इस नए नियम के अंतर्गत मंत्रालय को सबसे ज्यादा आवेदन पाकिस्तान से प्राप्त हुए हैं.
हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, गृह मंत्रालय की ओर से संभवत मार्च के एक दो सप्ताह के भीतर नागरिकता संशोधन अधिनियम से जुड़े नियमों संबंधी अधिसूचना को जारी कर दिए जाने की संभावनाए हैं. इन नियमों के लागू होने के बाद सबसे ज्यादा फायदा उन गैर- मुस्लिम शरणार्थियों को नागरिकता हासिल करने में होगा जो पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान आदि देशों से भारत में आए हैं. केंद्र सरकार इन नियमों को आगामी लोकसभा चुनावों की तारीखों की घोषणा से पहले यानी आदर्श आचार संहिता लागू होने से पहले करने की पूरी तैयारी कर चुकी है.
गृह मंत्रालय कर चुका है ऑनलाइन पोर्टल का ड्राई रन
समाचार एजेंसी एएनआई ने सूत्रों के हवाले से जानकारी दी है कि CAA के ऑनलाइन पोर्टल को रजिस्ट्रेशन के लिए तैयार कर लिया गया है, जिसका गृह मंत्रालय की ओर से ड्राई रन पहले ही किया जा चुका है. CAA का सबसे ज्यादा फायदा पड़ोसी मुल्कों से आए उन शरणार्थियों को होगा जिनके पास किसी प्रकार के दस्तावेज नहीं है. इससे उनको नागरिकता हासिल करने में बड़ी मदद मिल सकेगी.
संसद ने CAA पर 11 दिसंबर 2019 में लगाई थी मुहर
इस बीच देखा जाए तो केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की ओर से दो बार इस बात को दोहराया जा चुका है कि CAA लोकसभा चुनाव से पहले लागू किया जाएगा. उन्होंने इस बात को भी जोर शोर से कहा है कि यह देश का कानून है और इसको कोई रोक नहीं सकता. देश की संसद ने CAA पर 11 दिसंबर, 2019 को मुहर लगाई थी.
इन तीन देशों के लोग कर सकेंगे नागरिकता के लिए आवेदन
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, CAA के अंतर्गत 31 दिसंबर, 2014 से पहले पाकिस्तान, अफगानिस्तान, बांग्लादेश से धार्मिक आधार पर प्रताड़ित होकर भारत आए हिंदू, सिख, बौद्ध, जैन, पारसी और ईसाई समुदाय के लोगों को नागरिकता दी जाएगी. इन तीन देशों के लोग ही नागरिकता के लिए आवेदन करने के योग्य होंगे.
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