Allahabad Highcourt Hearing Today On Banke Bihari Temple Corridor Case Ann
Banke Bihari Temple Corridor: मथुरा (Mathura) के बांके बिहारी मंदिर (Banke Bihari Corridor) में दर्शनार्थियों की सुविधा व सुरक्षा के लिए प्रस्तावित कॉरिडोर निर्माण का मामले में आज लगातार दूसरे दिन भी इलाहाबाद हाई कोर्ट (Allahabad High Court) में सुनवाई होगी. इस कॉरिडोर को बनाने के लिए मंदिर के ही चढ़ावे का इस्तेमाल किए जाने का प्रस्ताव दिया गया है, जिसका यहां के सेवायत विरोध कर रहे हैं. उनका कहना कहा है कि अगर राज्य सरकार विकास करना चाहती है तो अपने पैसे से करे, मंदिर के चढ़ावे को खर्च करने का कोई औचित्य नहीं है.
मथुरा में बांके बिहारी मंदिर के लिए राज्य सरकार द्वारा कॉरिडोर बनाने की योजना है, जिसके लिए मंदिर के चढ़ावे का इस्तेमाल करने का प्रस्ताव दिया गया है, लेकिन मंदिर के सेवायत इस प्रस्ताव का विरोध कर रहे हैं. सेवायतों की आपत्ति की वजह से अब तक इसका हल नहीं निकल सका है. सेवायतों का कहना है कि प्रस्तावित योजना के नाम पर मंदिर के चढ़ावे से किए जाने वाले खर्च का कोई औचित्य नहीं है. अगर सरकार यहां पर श्रद्धालुओं की सुविधा व सुरक्षा के लिए कॉरिडोर बनाना चाहती है तो वो अपने पैसे से कराए.
सेवायतों ने इस बात पर जताई आपत्ति
सेवायतों का कहना है कि उन्हें प्रस्तावित कॉरिडोर से कोई आपत्ति नहीं हैं, लेकिन राज्य सरकार को इसका निर्माण अपने पैसे से करना चाहिए. वहीं उन्होंने ये भी कहा कि इसकी वजह से मथुरा के पौराणिक और धार्मिक स्वरूप के साथ भी कोई छेड़छाड़ न की जाये. सेवायतों का कहना है कि मंदिर का चढ़ावा चाहे कैश में हो अथवा सोना-चांदी के रूप में सभी प्रकार का चढ़ावा भगवान के नाम पर खुले बैंक अकाउंट में जमा होता है. प्रशासन को उन पैसों का खर्च उनकी निगरानी में वहां के विकास के लिए करने की अनुमति वो नहीं देना चाहते हैं.
राज्य सरकार ने दिया है ये प्रस्ताव
राज्य सरकार का कहना है कि वह मंदिर में आने वाले लाखों श्रद्धालुओं की सुरक्षा व सुविधा के लिए विकास करना चाहती है. सरकार मंदिर के लिए सुविधाएं मंदिर के धन से करना चाहती है, यह जनहित में है. सरकार ने श्रद्धालुओं की सुविधा व सुरक्षा के लिए पांच एकड़ में कोरिडोर निर्माण का प्रस्ताव तैयार किया है.
सेवायतों की ओर से अनंत शर्मा व महंत मधु मंगलदास की तरफ से जनहित याचिका दाखिल की गई है. चीफ जस्टिस प्रीतिंकर दिवाकर और जस्टिस आशुतोष श्रीवास्तव की डिवीजन बेंच में आज फिर इस पर सुनवाई होगी.