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Moradabad Police arrested Contractor and Two Other Retired Inspector Murder Case ann


Moradabad News Today: उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद से हत्या का एक सनसनीखेज मामला सामने आया है. जहां एक रिटायर्ड दारोगा की उसी का मकान बना रहे ठेकेदार और उसके दो साथियों ने सीढ़ी से गिरा कर पीट-पीटकर हत्या कर दी. आरोपियों ने दारोगा के शव से सोने की चैन और अंगूठी भी लूट ली. 

आरोपियों ने घटना को हादसा बता कर परिजनों से शव का अंतिम संस्कार भी करा दिया, लेकिन दारोगा के शरीर पर सोने की चैन और अंगूठी न मिलने पर परिजनों को शक हुआ. उन्होंने घटना स्थल पर लगे सीसीटीवी फुटेज चेक किया तो उसमें कुछ लोग आते जाते नजर आए. 

क्या है पूरा मामला?
शक होने पर परिजनों ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई. जिसके बाद पुलिस की जांच में आरोपी ठेकेदार और उसके दो साथी पकड़े गये, जिन्होंने अपना जुर्म कबूल कर लिया. यह घटना मुरादाबाद के मझोला थाना क्षेत्र की है. पुलिस मामले में आगे की जांच में जुटी है. 

मुरादाबाद के बुद्धि विहार इलाके में रिटायर्ड दारोगा अतेंद्र सिंह परिवार के साथ रहते थे. दो माह पहले ही वह सहारनपुर से सेवानिवृत्त हुए है. नौकरी के दौरान अतेंद्र ने मुरादाबाद के लाकड़ी बाईपास इंडस्ट्रियल एरिया में एक प्लॉट खरीदा था. रिटायर होने के बाद वह उस प्लॉट पर हॉल का निर्माण करा रहे थे. 

दारोगा की डांट से था नाराज
मृतक अतेंद्र सिंह ने इसके निर्माण का ठेका 3 जनवरी को मुरादाबाद निवासी रवींद्र को दिया था. रवींद्र ठेकेदारी के साथ-साथ राजमिस्त्री का भी काम करता है. 19  जनवरी को दोपहर में अतेंद्र सिंह प्लॉट पर काम देखने गए थे. वह सीढ़ियों के पास खड़े होकर काम देख रहे थे और ठेकेदार को कमियां बता रहे थे. 

इस दौरान उन्होंने काम में कमियों पर ठेकेदार रवींद्र और उसके साथियों को फटकार लगा दी. यह बात ठेकेदार को नागवार गुजरी और उसने पीछे से दारोगा अतेंद्र की कमर पर जोर से लात मारी. इससे वह नीचे मुंह के बल गिर पड़े. इसके बाद रवींद्र ने अपने दो साथी मजदूरों के साथ बल्लियों से पीट-पीटकर दारोगा अतेंद्र की हत्या कर दी. 

इसके बाद ठेकेदार ने दारोगा अतेंद्र के बेटे अंकुर प्रताप सिंह को फोन कर बताया कि तुम्हारे पापा छत से नीचे गिर गए हैं. जिससे उनकी मौत हो गई है. यह सुनकर उनका बेटा फौरन मौके पर पहुंचा और आनन फानन में पिता को कार से जिला अस्पताल पहुंचाया. यहां डॉक्टरों ने चिकित्सकीय परीक्षण के बाद अतेंद्र को मृत घोषित कर दिया. दारोगा की मौत से घर में कोहराम मच गया. बेटे ने हादसा मानकर पिता के शव का अंतिम संस्कार भी कर दिया. 

चैन और अंगूठी से खुला राजा
मुरादाबाद एसपी सिटी कुमार रणविजय सिंह ने बताया कि अतेंद्र की मौत के करीब 15 दिन बाद यानी 6 फरवरी को अतेंद्र के बेटे को याद आया कि उनके पिता हमेशा सोने की चैन और अंगूठी पहनते थे. अंतिम संस्कार के समय दोनों गायब थी. दारोगा का बेटा मझोला थाने पहुंचा और उसने पुलिस से शक जाहिर किया कि शायद उनके पिता के छत से गिरने के बाद मजदूरों या फिर अस्पताल में किसी ने दोनों वस्तुएं निकाल ली हैं. 

इसके बाद पुलिस ने सबसे पहले अस्पताल का सीसीटीवी फुटेज चेक किया. यहां पता चला कि अस्पताल स्टाफ ने उनके हाथ या गले से कोई भी वस्तु नहीं उतारी है. इसके बाद घटनास्थल के पास के सीसीटीवी फुटेज देखे गये तो उसमें कुछ लोग आते जाते दिखाई पड़े. जबकि ठेकेदार और मजदूरों ने कहा था की ढाई बजे के बाद वहां कोई नहीं आया.

पूछताछ में हत्या का खुलासा
इस पर पुलिस का शक गहरा हो गया. पुलिस ने ठेकेदार रवींद्र को थाने बुलाया और पूछताछ की. पुलिस ने पूछा कि अतेंद्र छत से कैसे गिरे? वह कहां खड़े थे? तुम लोग उस समय कहां थे? इन सवालों के जवाब देते समय रवींद्र घबरा गया. इस पर पुलिस ने उससे कड़ाई से पूछताछ की तो वह टूट गया. रवींद्र ने पुलिस को बताया कि अतेंद्र की मौत छत से गिरकर नहीं हुई थी बल्कि उसने हत्या की थी. आरोपी ने बताया कि अतेंद्र की हत्या उसने दो मजदूरों विपिन और संजय के साथ मिलकर की थी. 

आरोपी रवींद्र ने बताया कि उसने मृतक दारोगा से कुछ माह पहले दो लाख रुपये लिए थे. पैसा चुकाने के लिए ही वह उनके यहां निर्माण कार्य कर रहा था, लेकिन दारोगा अतेंद्र मुझे बहुत डांटते थे. मैं उनकी गालियों से तंग आ गया था और बदला लेने का मन बना लिया था. उसने बताया कि मृतक दारोगा से मैं और मजदूर भी काफी परेशान हो गए थे, इसलिए हम लोगों ने हत्या करने का प्लान बनाया. 

लालच देकर मजदूरों को मिलाया
रवींद्र ने दोनों मजदूरों को अतेंद्र की सोने की चौन और अंगूठी देने की बात कहकर प्लान में उन्हें भी शामिल कर लिया. रविंद्र ने पुलिस को बताया कि अतेंद्र जब 19 जनवरी को बिल्डिंग पर काम देखने आए तो हम तीनों ने पहले से ही उसे निपटाने का मन बना लिया था. दारोगा छत पर चेक करने पहुंचे, यहां मैंने उनके कमर में पीछे से लात मारी. अतेंद्र नीचे मुंह के बल गिर पड़े. इससे पहले वह उठ पाते मजदूरों और मैंने बल्लियों से वार करना शुरू कर दिया. 

आरोपी ने खुलासा किया कि अतेंद्र की मौत हो जाने के बाद मैंने अंगूठी और चैन उतार ली, फिर शव को सीढ़ियों से नीचे फेंक दिया और उसके बेटे को फोन कर छत से नीचे गिरने की झूठी कहानी बता दी. पुलिस ने रवींद्र, विपिन और संजय को गिरफ्तार कर लिया. तीनों पर हत्या का मुकदमा दर्ज किया गया है.

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