Massive Explosion In A Firecracker Warehouse In Kerala, Two People Died And 15 Injured – केरल के पटाखा गोदाम में विस्फोट से दो लोगों की मौत और 15 घायल, कई किमी दूर तक महसूस हुए झटके
पुथियाकावु देवी मंदिर के अध्यक्ष सजीश कुमार, सचिव राजेश और कोषाध्यक्ष सत्यन को मुख्य आरोपी बताया गया है जबकि पटाखों के ठेकेदार आदर्श को मामले में चौथा आरोपी बनाया गया है. पुलिस ने पांचवें आरोपी की शिनाख्त नहीं की है. पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि आरोपियों के खिलाफ 307 (गैर इरादतन हत्या) सहित भादंवि की कई धाराएं लगाई गईं हैं.
उन्होंने कहा, “अब तक चार लोगों को हिरासत में लिया गया है. इनमें से दो मंदिर के अधिकारी हैं और बाकी पटाखा ठेकेदार के कर्मचारी हैं. उनसे पूछताछ जारी है.”
पुलिस की प्राथमिकी के अनुसार, मंदिर के अधिकारियों के निर्देश पर ठेकेदार द्वारा अवैध रूप से पटाखों और बारूद को एक जगह इकट्ठा किया गया था. पुलिस ने हालांकि अभी तक अचानक हुए विस्फोट का कोई सटीक कारण नहीं बताया है.
फोरेंसिक टीम ने भी घटनास्थल का मुआयना किया
प्राथमिकी में कहा गया है कि पटाखों और बारूद से हुए विस्फोट में एक व्यक्ति की मौत हो गई, कम से कम 16 अन्य गंभीर रूप से घायल हो गए और आसपास के कई घरों को नुकसान पहुंचा. इस बीच, राजस्व अधिकारियों ने संपत्ति के नुकसान का जायजा लेने के लिए विस्फोट स्थल और इलाके के घरों का दौरा किया. विस्फोट के सटीक कारण का पता लगाने के लिए वैज्ञानिक साक्ष्य की तलाश में फोरेंसिक विशेषज्ञों ने भी घटनास्थल का मुआयना किया.
स्वास्थ्य विभाग के सूत्रों ने बताया कि यहां कलामासेरी मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में भर्ती पांच घायलों की हालत गंभीर है. उन्होंने कहा, “दो घायल व्यक्तियों की आपातकालीन सर्जरी की गई और अन्य तीन को बर्न वार्ड के आईसीयू में भर्ती कराया गया.”
जिला प्रशासन के अनुसार, पहले मृत व्यक्ति की पहचान तिरुवनंतपुरम के रहने वाले विष्णु के रूप में की गई, माना जा रहा है कि पटाखों से भरा वाहन वही चलाकर लाया था. उन्होंने बताया कि 55 वर्षीय दिवाकरन की शाम को मृत्यु हो गई, जिसके बारे में तत्काल जानकारी नहीं मिल पाई है.
विस्फोट के कारण आसपास के लगभग 25 घर और कुछ दुकानें गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त हो गईं, जबकि दो वाहन पूरी तरह से जल गए. विस्फोट के सही कारण का हालांकि अब तक पता नहीं चल पाया है, लेकिन मौके पर पहुंचे दमकल एवं बचावकर्मियों ने आशंका जताई कि गोदाम में भारी मात्रा में लाए गए पटाखों में एक साथ विस्फोट हुआ होगा.
कई किलोमीटर दूर तक महसूस किए झटके
अग्निशमन एवं बचाव विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने पुष्टि की कि यह एक भीषण विस्फोट था, जिसके कारण कई किलोमीटर दूर तक झटके महसूस किये गये. उन्होंने कहा कि स्थानीय अग्निशमन केंद्र पर भी झटके महसूस किए गए और वे विस्फोट की तेज आवाज से चिंतित होकर घटनास्थल की ओर रवाना हो गए. अधिकारी ने बताया कि आग पर जल्द ही काबू पा लिया गया, लेकिन इससे पहले ही आसपास के इलाकों में भारी नुकसान हो चुका था.
दमकल विभाग के सहायक स्टेशन अधिकारी ने मीडिया को बताया, “हमें इस बात की कोई जानकारी नहीं थी कि इस घनी आबादी वाले इलाके में पटाखा गोदाम संचालित किया जा रहा है. इसे संचालित करने वालों ने इसके लिए कोई अनुमति नहीं ली थी.”
यह स्पष्ट करते हुए कि विस्फोट का सटीक कारण अभी तक पता नहीं चला है, उन्होंने कहा कि वे स्थानीय लोगों द्वारा दी गई जानकारी पर भरोसा कर रहे हैं जिन्होंने कहा कि दुर्घटना तब हुई जब एक वाहन से पटाखे गोदाम में उतारे जा रहे थे.
अधिकारी ने कहा, “स्थानीय लोगों ने कहा कि गोदाम कुछ समय से इलाके में संचालित किया जा रहा था और स्थानीय मंदिर उत्सव के हिस्से के रूप में पटाखों का भंडारण किया गया था. हमें ऐसे विवरणों को सत्यापित करना होगा. लेकिन, अभी तक हमें इसके संचालन के बारे में कोई जानकारी नहीं थी.”
विस्फोट से उखड़ गए कई घरों के खिड़की-दरवाजे
इस बीच, स्थानीय निवासी अब भी अप्रत्याशित विस्फोट के प्रभाव से उबर नहीं पाए हैं जिसने क्षेत्र को हिलाकर रख दिया है. इलाके में कई दो मंजिला इमारतों की छत गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त पाई गई. विस्फोट के प्रभाव से कई घरों के दरवाजे और खिड़कियां उखड़ गए और आसपास खड़ी कारों को ईंट और टाइल गिरने से नुकसान पहुंचा है.
इस बीच, राज्य मानवाधिकार आयोग ने मीडिया में आई खबरों के आधार पर पटाखा दुर्घटना मामले में स्वत: संज्ञान लेते हुए मामला दर्ज किया है. आयोग ने एर्नाकुलम जिला कलेक्टर और शहर पुलिस आयुक्त को घटना की जांच करने और 15 दिनों के भीतर एक रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया.
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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)