‘ओलिंपिक मेजबानी के लिए तैयार हैं हम’, राष्ट्रीय खेलों के समापन समारोह में बोले गृह मंत्री अमित शाह
Pulwama attack 6th anniversary: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने रविवार (14 फरवरी ) को को हल्द्वानी में आयोजित 38वें राष्ट्रीय खेलों के समापन समारोह में भाग लिया. इस दौरान उन्होंने पुलवामा में शहीद हुए देश के जवानों को श्रद्धाजंलि देते हुए कहा, “पुलवामा में देश के जवानों की शहीदी हुई और मोदी जी ने घर में घुसकर एयर स्ट्राईक की. इसके साथ ही संदेश दिया कि भारत की सीमा के साथ खिलवाड़ नहीं की जा सकती. सभी शहीद जवानों को श्रद्धांजलि”.
समापन समारोह में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मेघालय के मुख्यमंत्री कोनराड संगमा को 39वें नेशनल गेम्स की मेजबानी के लिए खेल ध्वज सौंपा. वहीं, उत्तराखंड की उपलब्धियों की सराहना की और खेलों के भविष्य को लेकर अपनी प्रतिबद्धता दोहराई. शाह ने कहा कि उत्तराखंड अब सिर्फ “देवभूमि” ही नहीं, बल्कि “खेल भूमि” भी बन गया है. राज्य की टीम ने 25वें स्थान से छलांग लगाकर 7वें स्थान पर जगह बनाई.
उन्होंने आगे कहा, “इस बार के खेलों में राष्ट्रीय स्तर पर कई रिकॉर्ड बने, जिससे अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में भारत के प्रदर्शन की उम्मीदें बढ़ी हैं.39वें नेशनल गेम्स मेघालय में होंगे, जिनमें नॉर्थ-ईस्ट के अन्य राज्यों में भी कुछ खेलों का आयोजन किया जाएगा.”
खेलों में भारत की प्रगति पर अमित शाह के बयान
केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से शुरू किए गए “खेलो इंडिया” और “फिट इंडिया” अभियान ने खेलों को नई दिशा दी है.
2014 में खेल बजट ₹800 करोड़ था, जो 2025-26 तक बढ़कर ₹3800 करोड़ हो जाएगा. उन्होंने कहा कि 2015 में भारत को 15 अंतरराष्ट्रीय मेडल मिले थे, जो 2023 तक बढ़कर 26 हो गए. एशियाई खेलों में भारत ने अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हुए 111 पदक जीते.
2036 ओलंपिक की मेजबानी
शाह ने कहा कि भारत 2036 के ओलंपिक की मेजबानी के लिए पूरी तरह तैयार है. उन्होंने उम्मीद जताई कि जब ओलंपिक भारत में होगा, तब उत्तराखंड के खिलाड़ी देश का गौरव बढ़ाएंगे.
खिलाड़ियों के लिए संदेश
उन्होंने मिल्खा सिंह का कोट करते हुए कहा, “जब दौड़ो तो ऐसे दौड़ो कि मेडल लेकर आओ, पीछे मुड़कर देखने की जरूरत ना पड़े.” शाह ने कहा कि जीत से ज्यादा हार को पचाना जरूरी है, और दृढ़ संकल्प और प्रैक्टिस ही सफलता की कुंजी है. केंद्रीय गृह मंत्री ने आगे कहा कि खिलाड़ी अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को “खेल मित्र” कहकर बुलाते हैं, क्योंकि उन्होंने खेलों को आगे बढ़ाने के लिए अभूतपूर्व प्रयास किए हैं.